कानपुर सीसामऊ विधानसभा सीट का सियासी किला भाजपा ढहाएगी या सोलंकी परिवार की विरासत बचेगी, ये आज थोड़ी देर में तय हो जाएगा। हिंदू-मुस्लिम वोटों के ध्रुवीकरण व सेंधमारी पर भाजपा, सपा समेत सियासी रणनीतिकारों की निगाह टिकी है। सीसामऊ विधानसभा की मतगणना में 13 राउंड पूरे हो चुके है… इसमें सपा प्रत्याशी नसीम सोलंकी 24883 वोटों के साथ आगे चल रही हैं। वहीं, भाजपा प्रत्याशी सुरेश अवस्थी को 31940 वोट मिले हैं। बसपा प्रत्याशी बीरेंद्र शुक्ला ने 915 वोट हासिल किए हैं। अब तक 90141 मतों की गिनती पूरी हो चुकी है, जिसमें सपा को 56823 वोट मिल चुके है।
1996 के बाद से भाजपा इस सीट पर दोबारा नहीं जीती है, जबकि सपा के हाजी इरफान सोलंकी पिछले तीन बार से लगातार चुनाव जीतते रहे हैं। इसमें उनके पिता स्वर्गीय हाजी मुश्ताक सोलंकी की बनाई जमीन का भी पूरा योगदान रहा। इसलिए हर कोई परिणाम के इंतजार में हैं। उपचुनाव में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से लेकर सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव तक ने प्रचार में पूरी ताकत झोंकी। हर पहलू पर दोनों दलों के सियासी रणनीतिकार अंतिम क्षण तक ‘चक्रव्यूह’ रचते रहे।
सीसामऊ विधानसभा सीट पर मिश्रित आबादी के मतदाता हैं। 92 बूथ मुस्लिम बहुल हैं, जबकि 183 पर हिंदू आबादी की अधिकता है। 2012 में हाजी इरफान सोलंकी इस सीट से सपा की टिकट पर चुनाव जीतने के बाद 2017 व 2022 में भी जीते। जाजमऊ में महिला की जमीन कब्जाने व आगजनी के मामले में सजा होने पर उनके जेल जाने के बाद यह सीट रिक्त हुई और उपचुनाव का बिगुल बजा। भाजपा ने पहले भी इस सीट पर चुनाव लड़ चुके सुरेश अवस्थी पर विश्वास जताया। सपा ने इरफान की पत्नी नसीम सोलंकी व बसपा ने वीरेंद्र कुमार को उतारा। 38 दिन के पूरे चुनाव में मुख्यमंत्री योगी दो बार यहां आए। पहले जनसभा की, फिर रोड शो से माहौल बनाया। सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव के साथ ही पार्टी के सियासी रणनीतिकार शिवपाल यादव व सांसद डिंपल यादव ने रोडमैप तैयार किया।
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